रांची , दिसम्बर 21 -- झारखंड में पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से घना कोहरा लगातार कहर बरपा रहा है।
राज्य के 20 जिलों में जनजीवन बुरी तरह प्रभावित रहा। राजधानी रांची में हालात सबसे गंभीर रहे, जहां दृश्यता 50 मीटर से भी कम दर्ज की गई। घने कोहरे का सीधा असर हवाई, रेल और सड़क यातायात पर पड़ा है।
मौसम विज्ञान केंद्र रांची ने राज्य के उत्तरी और मध्य हिस्सों के कई जिलों में अगले 24 घंटों के लिए घने कुहासे का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। चेतावनी के अनुसार कुछ इलाकों में दृश्यता 50 मीटर से भी नीचे जा सकती है, जिससे दुर्घटनाओं की आशंका बढ़ गई है।
ऑरेंज अलर्ट वाले जिलों में गढ़वा, पलामू, चतरा, कोडरमा, गिरिडीह, हजारीबाग और लातेहार शामिल हैं। वहीं रांची, रामगढ़, गुमला, लोहरदगा, खूंटी, बोकारो, धनबाद, देवघर, दुमका, जामताड़ा, पाकुड़, गोड्डा और साहिबगंज में यलो अलर्ट जारी किया गया है।
सिमडेगा, सरायकेला-खरसावां और पूर्वी व पश्चिमी सिंहभूम में कोहरे का असर अपेक्षाकृत कम रहने की संभावना जताई गई है।
घने कोहरे के कारण रांची एयरपोर्ट पर सात उड़ानें रद्द करनी पड़ीं। दिल्ली, कोलकाता, बेंगलुरु और अहमदाबाद से आने-जाने वाली कई फ्लाइट्स प्रभावित रहीं। उड़ान रद्द होने की सूचना मिलते ही यात्रियों में बुकिंग रिशेड्यूल कराने को लेकर अफरा-तफरी मच गई। कई विमान एक से चार घंटे की देरी से पहुंचे।
जम्मूतवी-संबलपुर एक्सप्रेस करीब आठ घंटे देरी से रांची पहुंची, जबकि मुंबई एलटीटी एक्सप्रेस ढाई घंटे लेट रही। उत्तर बिहार से रांची आने वाली बस सेवाएं भी तय समय पर नहीं पहुंच सकीं।
कोहरे के साथ ठंड भी तेज हो गई है। रांची का न्यूनतम तापमान 9.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि कांके में पारा 6.2 डिग्री तक गिर गया। लोहरदगा, लातेहार और खूंटी में न्यूनतम तापमान 8 से 10 डिग्री के बीच बना हुआ है।
मौसम विभाग के अनुसार, पश्चिमी विक्षोभ के कारण नमी वाली हवा ठंडी सतह से टकरा रही है, जिससे जलवाष्प की महीन बूंदें कुहासे में बदल रही हैं। धूलकण और प्रदूषण के कण इसमें शामिल होकर दृश्यता और कम कर रहे हैं, जिसके कारण दिन में भी ठंड और कनकनी महसूस हो रही है।
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