लखनऊ , अक्टूबर 10 -- लखनऊ समेत छह जिलों को मिलाकर विकसित किये जा रहे यूपी एससीआर (उत्तर प्रदेश स्टेट कैपिटल रीजन) में एक सेन्ट्रल म्यूजियम बनेगा। म्यूजियम में प्रदेश के सभी पर्यटक स्थलों के एआई जनरेटेड थ्रीडी विजुअल्स प्रदर्शित किये जाएंगे। साथ ही उनके इतिहास के बारे में पूरी जानकारी उपलब्ध करायी जाएगी। यह पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा देने की दिशा में एक अहम कदम साबित होगा।
शुक्रवार को इस बाबत लखनऊ विकास प्राधिकरण के पारिजात सभागार में एससीआर के रीजनल प्लान के सर्वे रिपोर्ट का प्रेजेन्टेशन दिया गया। एलडीए उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार ने बताया कि यूपी एससीआर के लिए जीआईएस आधारित क्षेत्रीय महायोजना तैयार करने के लिए कंसल्टेंट के रूप में एईकॉम इंडिया प्रालि एवं एजीस इंडिया कन्सल्टिंग इंजीनियर्स प्रालि के कंसोर्टियम का चयन किया गया है। कंसल्टेंट कंपनी द्वारा 1 वर्ष में रीजनल प्लान तैयार किया जाएगा। जिसके बाद कंपनी अगले 5 वर्ष में रीजनल प्लान के मुताबिक परियोजनाओं को चिन्हित करते हुए उनका डीपीआर तैयार करेगी। साथ ही स्थल पर परियोजनाओं को क्रियान्वित कराने का काम सुनिश्चित कराएगी।
एससीआर में लखनऊ, सीतापुर, उन्नाव, हरदोई, बाराबंकी और रायबरेली जनपद शामिल हैं और इसका क्षेत्रफल लगभग 26000 वर्गकिलोमीटर है। कंसल्टेंट द्वारा सर्वे रिपोर्ट प्रस्तुत करते हुए बताया गया कि अन्य जनपदों की तुलना में लखनऊ अधिक विकसित है। आसपास के जनपदों से रोजाना हजारों लोग व्यवसाय, नौकरी, स्वास्थ्य, शिक्षा समेत विभिन्न कारणों से लखनऊ आते हैं। एससीआर के क्रम में आसपास के जनपदों में भी समानांतर रूप से विकास किया जाएगा। इससे निवेश बढ़ेगा, रोजगार व व्यवसाय के अवसर सृजित होंगे।
सांसद प्रतिनिधि दिवाकर त्रिपाठी ने बैठक में कहा कि लखनऊ का विकास शहरीकरण की वजह से हुआ। इसी तरह बाराबंकी व उन्नाव आदि जनपदों में भी शहरीकरण के लिए विस्तृत प्लान तैयार कराने की जरूरत है। इसमें जनपदों में पेयजल एवं विद्युत की कितनी खपत है। आबादी के अनुपात में स्वास्थ्य, शिक्षा समेत अन्य मूलभूत सुविधाओं का क्या दायरा है। इन सभी बातों को ध्यान में रखते हुए कार्ययोजना बनानी होगी।
सांसद प्रतिनिधि ने कहा कि वर्तमान में लगभग 16 करोड़ टूरिस्ट अयोध्या आ रहे हैं। इन्हें लखनऊ व एससीआर के अन्य जनपदों से कैसे कनेक्ट किया जाए, उसके लिए भी विस्तृत प्लान तैयार किया जाए। इसके अलावा सीतापुर व हरदोई रोड पर कृषि आधारित उद्योगों का हब विकसित करने के लिए रूपरेखा तैयार की जाए।
एलडीए उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार ने बताया कि लखनऊ, सीतापुर, उन्नाव, हरदोई, बाराबंकी और रायबरेली में आधारभूत सुविधाओं को उच्चीकृत करने पर काम किया जा रहा है। इस क्रम में जनपदों के बीच हाई स्पीड रेल एवं रोड कनेक्टिविटी का प्रावधान किया जा रहा है। आवागमन तेज और सुगम होने से औद्योगिक व व्यावसायिक विकास को बल मिलेगा। इससे बड़ी तादाद में रोजगार के अवसर सृजित होंगे और प्रदेश का आर्थिक विकास होगा।
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