ईटानगर , नवंबर 27 -- अरुणाचल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बोसीराम सिराम ने चीन के बार-बार उकसावे के बाद भी भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) नीत केंद्र सरकार की लगातार चुप्पी की आलोचना की है।
श्री सिराम ने गुरुवार को कहा कि भाजपा चुनावों के दौरान राष्ट्रवाद का ढिंढोरा पीटती है लेकिन जब चीन भारत की क्षेत्रीय अखंडता पर प्रहार करता है तो वह कमजोर एवं विनम्र रुख अपना लेती है।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता की टिप्पणी शंघाई में एक अरुणाचल प्रदेश की महिला से जुड़ी हाल की घटना के मद्देनजर आई है।
श्री सिराम ने शंघाई हवाई अड्डे पर चीनी आव्रजन अधिकारियों द्वारा एक अरुणाचली महिला को कथित रूप से परेशान किए जाने की कड़ी निंदा की और कहा कि यह न केवल एक महिला का अपमान है बल्कि अरुणाचल प्रदेश के लोगों और भारत की संप्रभुता का भी अपमान है।
उन्होंने आरोप लगाया कि वर्षों से मोदी सरकार वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर बार-बार घुसपैठ के बावजूद चीन का सामना करने में विफल रही है और तथाकथित बफर जोन के माध्यम से पूर्वी लद्दाख में रणनीतिक क्षेत्र को आत्मसमर्पित कर दिया है और चीन को बिना किसी कड़े विरोध के भारतीय क्षेत्र की अवसंरचना और यहां तक कि गांवों का निर्माण करने की भी अनुमति दी है।
श्री सिराम ने कहा कि ताजा घटना भाजपा की संप्रभुता पर चुप्पी और साहस पर कायरता को उजागर करती है।
रिपोर्टों के अनुसार, अरुणाचल प्रदेश के पश्चिम कामेंग जिले की मूल निवासी ब्रिटेन स्थित भारतीय नागरिक पेमा वांगजोम थोंगडोक को 21 नवंबर को लंदन से जापान जाते समय शंघाई में एक ट्रांजिट स्टॉप के दौरान लगभग 18 घंटे तक हिरासत में रखा गया था।थोंगडोक ने दावा किया कि चीनी अधिकारियों ने उनके भारतीय पासपोर्ट को मान्यता देने से इनकार कर दिया क्योंकि उसमें अरुणाचल प्रदेश को उनका जन्मस्थान बताया गया था और उन पर यह स्वीकार करने का दबाव डाला गया कि अरुणाचल प्रदेश चीन का हिस्सा है। उन्होंने नस्लीय उपहास एवं अपमानजनक व्यवहार का भी सामना करने की बात कही। चीन ने हालांकि इन आरोपों को खारिज कर दिया है तथा एक बार फिर अपना निराधार दावा दोहराया है कि अरुणाचल प्रदेश दक्षिण तिब्बत है जिसे भारत दृढ़तापूर्वक और स्पष्ट रूप से खारिज करता है।
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