अनुपम पटेरिया, अगस्त 14 -- मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय ने सागर स्थित डॉ. हरि सिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय हुई असिस्टेंट प्रोफेसरों की भर्ती को अवैध बताते हुए कार्यकारी परिषद की बैठक में साल 2022 में लिए गए निर्णय को रद्द कर दिया है। इसके साथ ही हाई कोर्ट ने एकबार फिर भर्ती प्रक्रिया शुरू करते हुए उसे तीन महीने के भीतर पूरी करने का निर्देश दिया है। साथ ही कोर्ट ने कहा है कि ऐसा नहीं होने पर साल 2013 में नियुक्त प्रोफेसर 15 नवंबर से अपने पद पर नहीं रहेंगे। कोर्ट ने यह फैसला ओडिशा के एक एक्टिविस्ट द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए कही। दरअसल यह पूरा मामला विश्वविद्यालय में 82 स्वीकृत पदों के बदले हुई 157 सहायक प्राध्यापकों की नियुक्ति का है, जिसे हाई कोर्ट ने पूरी तरह से गलत बताया और कहा कि ऐसा करते हुए विश्व विद्यालय ने कानून के शासन क...
Click here to read full article from source
To read the full article or to get the complete feed from this publication, please
Contact Us.