पटना, जुलाई 16 -- बिहार में वोटर लिस्ट रिवीजन के दौरान 'बीएलओ के घर जलाने' वाला बयान देने के बाद विकासशील इंसान पार्टी के सुप्रीमो मुकेश सहनी ने सफाई दी है। सहनी ने कहा कि उन्होंने खुद बीएलओ के घर जलाने की बात नहीं कही थी, बल्कि ऐसी आशंका जाहिर की थी। उन्होंने यह भी कहा कि अगर बिहार में महागठबंधन की सरकार रहती, तो बूथ लेवल पदाधिकारियों (बीएलओ) को मतदाता गहन पुनरीक्षण के लिए एक महीने का दोगुना वेतन दिया जाता। बिहार के पूर्व मंत्री मुकेश सहनी ने बुधवार को स्पष्ट किया किबी उन्होंने बीएलओ के घर जलाने की बात नहीं की है। लोग गुस्से में हैं और वे बीएलओ के साथ मारपीट कर सकते हैं। इसी की आशंका जताई थी। उन्होंने बीएलओ के काम की तारीफ करते हुए कहा कि वोटर लिस्ट रिवीजन का जो काम एक साल में होना चाहिए, उसे बीएलओ एक महीने में कर रहे हैं। उन्हें धमकी दी...