रामपुर, दिसम्बर 22 -- मुल्लाखेड़ा गुरुद्वारे में उन्नीसवां सालाना समागम प्रारंभ हुआ। यह दशमेश पिता गुरु गोविंद सिंह के चारों साहिबजादों और माता गूजर कौर की मीठी याद में आयोजित किया जाता है। सवेरे करीब दस बजे गुरुद्वारा भवन के बराबर सजाए गए विशाल पंडाल में जयकारों के साथ श्री गुरु ग्रंथ साहिब की स्थापना और अरदास हुई। इसके बाद उनकी हुजूरी में समागम का दीवान शुरू हुआ। इसमें भाई खजान सिंह के रागी और भाई हरपाल सिंह धड़ तथा बीवी रजवंत कौर राजन के ढाडी जत्थों ने सबद-कीर्तन किए और संगत को मोह लिया। दिल्ली से आए कथावाचक ज्ञानी मंजीत सिंह और पटना साहिब से पधारे कथावाचक ज्ञानी सतनाम सिंह ने चारों साहिबजादों व माता के अमर बलिदान की गौरवपूर्ण कथा का वर्णन किया। दीवान का संचालन प्रोफेसर कश्मीरा सिंह ने किया। इस दौरान हाईवे किनारे अस्थाई दुकानों व झूलों...
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