नई दिल्ली, जून 5 -- दिल्ली हाई कोर्ट ने बाउंसरों के इस्तेमाल पर डीपीएस द्वारका को फटकार लगाई। कोर्ट ने कहा कि स्कूलों की प्रेरक शक्ति और चरित्र अधिकतम लाभ कमाने में नहीं बल्कि लोक कल्याण, राष्ट्र निर्माण और बच्चों के समग्र विकास में निहित है। कोर्ट ने फीस के मुद्दे पर स्कूल द्वारा 30 से अधिक छात्रों को निकाले जाने के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान यह टिप्पणी की। दिल्ली हाई कोर्ट ने गुरुवार को दिल्ली पब्लिक स्कूल, द्वारका को फीस विवाद के चलते अपने परिसर में छात्रों के प्रवेश को रोकने के लिए बाउंसर का इस्तेमाल करने के लिए कड़ी फटकार लगाई। जस्टिस सचिन दत्ता ने कहा कि शिक्षण संस्थान में इस तरह की प्रथा का कोई स्थान नहीं है। छात्रों को सार्वजनिक रूप से शर्मिंदा करना और डराना न केवल मानसिक उत्पीड़न है, बल्कि इससे बच्चे के मनोवैज्ञानिक स्व...