नई दिल्ली, अक्टूबर 29 -- राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पटाखों और प्रदूषण को लेकर छिड़ी बहस के बीच भारत के सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस अभय एस ओका ने बड़ी बात कही है। जस्टिस ओका ने बुधवार को एक कार्यक्रम में कहा है कि पटाखे फोड़ना, लाखों लोगों का नदियों में स्नान करना, मूर्ति विसर्जन और धार्मिक उत्सवों में लाउडस्पीकर का उपयोग करना जैसी चीजें संविधान के अनुच्छेद 25 के तहत जरूरी धार्मिक प्रथाओं का हिस्सा नहीं है। जस्टिस ओका ने इस दौरान यह भी कहा है कि कोई भी धर्म हमें पर्यावरण को बर्बाद करने की इजाजत या प्रोत्साहन नहीं देता। उन्होंने कहा कि कोई भी धर्म हमें पर्यावरण की रक्षा करना और जीवों के प्रति दया दिखाना सिखाता है। सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन द्वारा आयोजित "स्वच्छ वायु, जलवायु न्याय और हम - एक सतत भविष्...