काशीपुर, अगस्त 25 -- काशीपुर, संवाददाता। गन्ना विकास और चीनी उद्योग आयुक्त त्रिलोक सिंह मर्तोलिया ने कहा कि वर्तमान समय में को 0238 नामक गन्ना प्रजाति लाल सड़न रोग से व्यापक रूप से आच्छादित हो गयी है। गन्ने का लाल सड़न (रेड रॉट) रोग गन्ने का सर्वाधिक विध्वंसक रोग है, जो उत्तराखण्ड सहित पूरे देश में गन्ने की अनेक उन्नत किस्मों के पतन के लिए उत्तरदायी है। उन्होंने किसानों से अपील करते हुए कहा कि वह इस प्रजाति की बुआई से बचें। सोमवार को गन्ना आयुक्त ने कहा कि यह रोग कोलेटोट्राइकम फाल्केटम नामक कवक से होता है, जो प्रतिवर्ष संक्रमित पोरियों, मलबों तथा इसके ऐसे रोगाणुओं से फैलता है, जो संक्रमित फसल की कटाई के बाद भी खेत में पड़े रहते हैं। शर्करा उद्योग के साथ-साथ यह गन्ना उत्पादकों के लिए भी हानिकारक है। अधिक आर्द्रता एवं जल निकास की उचित व्यवस...