नई दिल्ली, सितम्बर 17 -- निर्वाचन आयोग के अधिकारियों ने बुधवार को कहा कि अधिकतर राज्यों में आधे से ज्यादा मतदाताओं को कोई दस्तावेज देने की जरूरत नहीं पड़ेगी। कहा कि उनके नाम उनके राज्यों में हुए पिछले विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के बाद तैयार मतदाता सूची में शामिल होंगे। अधिकारियों ने बताया कि ज्यादातर राज्यों में मतदाता सूची का आखिरी विशेष गहन पुनरीक्षण 2002 और 2004 के बीच हुआ था। अगले एसआईआर के लिए इसी साल को उनकी कट-ऑफ तारीख का आधार माना जाएगा। अधिकारियों ने पहले बताया था कि आयोग जल्द ही पूरे भारत में विशेष गहन पुनरीक्षण शुरू करने की तारीख तय करेगा और राज्यों में मतदाता सूची की समीक्षा का काम साल के अंत से पहले शुरू हो सकता है। मुख्य निर्वाचन अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे पिछले एसआईआर के बाद प्रकाशित अपने राज्यों की मतदाता सू...