नई दिल्ली, जून 15 -- अहमदाबाद में एयर इंडिया का विमान क्रैश होने के चंद दिनों बाद ही आज रविवार को उत्तराखंड के गौरीकुंड में हेलीकॉप्टर क्रैश होने से सात लोगों की जान चली गई। सामने आया है कि अचानक हेलीकॉप्टर का संपर्क कंट्रोल रूम से टूट गया और बाद में स्थानीय लोगों ने क्रैश साइट हो रिपोर्ट किया। समझना जरूरी है कि एरोप्लेन और हेलीकॉप्टर कौन सी कम्युनिकेशन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करते हैं और कंट्रोल रूम से संपर्क टूटने की संभावित वजह क्या हो सकती है। दरअसल, हेलीकॉप्टर और एरोप्लेन जैसे उड़ान भरने वाले अलग-अलग आकार के सभी विमान लेटेस्ट कम्युनिकेशन टेक यूज करते हैं, जिससे वे जमीन पर मौजूद एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC), अन्य एयरक्राफ्ट्स और ग्राउंड स्टेशन से संपर्क बनाए रख सकें। इसकी मदद से ना सिर्फ उनकी उड़ान आसान रहती है, बल्कि यह सुरक्षा के लिहाज ...