नई दिल्ली, फरवरी 12 -- भारतीय ग्राहकों के बीच एंट्री लेवल सेगमेंट यानी 5 लाख रुपये से कम की कारों की डिमांड लगभग खत्म हो गई है। पिछले कुछ सालों में लोग अधिक फीचर और बेहतरीन सेफ्टी रेटिंग वाली कारों पर दिल खोलकर पैसा लुटा रहे हैं। इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि आज से 8 साल पहले यानी साल 2015 में 5 लाख रुपये से कम की कारों का मार्केट शेयर 33.6 पर्सेंट था। जबकि साल 2023 में यह आंकड़ा घटकर 0.03 पर्सेंट रह गया। बता दें कि लोग इस दौरान भारत में सबसे अधिक कार की बिक्री करने वाली कंपनी मारुति सुजुकी की सस्ती कारों को भी नहीं खरीद रहे हैं। आइए जानते हैं बिक्री में आई इस कमी के बारे में विस्तार से। सस्ती कारों को नहीं पूछ रहे लोग

बता दें कि पिछले 5 सालों के दौरान 5 लाख से कम वाली कारों के सेगमेंट की कीमतों में सबसे अधिक 65 पर्सेंट का इज...